ग्रेटर नोएडा

गौतम बुद्ध विश्वविद्यालय के स्कूल ऑफ लॉ जस्टिस एंड गवर्नेंस द्वारा राष्ट्रीय मूट कोर्ट प्रतियोगिता 2025 का हुआ समापन सत्र 

ग्रेटर नोएडा:गौतम बुद्ध विश्वविद्यालय के स्कूल ऑफ लॉ जस्टिस एंड गवर्नेंस द्वारा दो दिवसीय राष्ट्रीय मूट कोर्ट प्रतियोगिता के दूसरे दिवस का आयोजन 9 नवम्बर 2025 को हुआ। । फाइनल राउंड होने के पश्चात समापन सत्र सम्पन हुआ । समापन सत्र के प्रारम्भ में स्कूल के अधिष्ठाता डॉ. के. के. द्विवेदी द्वारा स्वागत वक्तव्य दिया गया जिसमें उन्होंने सभी आमंत्रित विद्वतजनों, सम्मानित गणमान्य व्यक्तियों, संकाय सदस्यों और प्रतिभागियों का गर्मजोशी से स्वागत किया और मूट कोर्ट प्रतियोगिता के आयोजन के उद्देश्यों और शैक्षणिक भावना पर प्रकाश डाला।

कार्यक्रम को आगे बढाते हुए सम्मानीय अतिथि माननीय श्री जस्टिस विनय कुमार माथुर ,सेवानिवृत्त न्यायधीश , इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने अपने विशेष वक्तव्य में कोर्ट में ड्राफ्टिंग और बहस के लिए किसी भी स्थिति में समाज के बदलते बदलाव से जुड़े रहने की निरंतर आवश्यकता को ज़रूरी बताया ।उन्होंने कहा कि विधि विशेषज्ञ को इतिहास, समाजशास्त्र, राजनीति विज्ञान, अर्थशास्त्र और अन्य सभी विषयों का ज्ञान होना चाहिए और इस प्रतियोगिता में जीतने या हारने से ज्यादा महत्व भागीदारी का होता है । न्यायमूर्ति माथुर ने विधि और शिक्षा के क्षेत्र में स्वर्गीय श्री पी. एन. माथुर के योगदान को याद किया। उन्होंने विधि छात्रों के बीच विश्लेषणात्मक कौशल, अदालती नैतिकता और वकालत के पोषण में मूट कोर्ट के महत्व पर ज़ोर दिया और उन्हें अपने पेशेवर कार्यों में ईमानदारी और परिश्रम बनाए रखने के लिए प्रोत्साहित किया।

इसके उपरांत विशिष्ट अतिथि के रूप में उपस्थित माननीय श्री जस्टिस ओ .पी. शुक्ला , जज, दिल्ली उच्च न्यायालय ने अपने वक्तव्य में कहा कि कानून के क्षेत्र में विभिन्न प्रकार के गुणों की आवश्यकता होती है जिसमें राष्ट्र की सेवा को सर्वोपरि ध्यान में रखना चाहिए। यह विधि के हित को ध्यान में रखने का समय है। न्यायमूर्ति शुक्ला ने भाग लेने वाली टीमों के उत्साह और तैयारी की सराहना की और कहा कि इस तरह के मंच न केवल कानूनी कौशल को बढ़ाते हैं बल्कि युवा उम्मीदवारों में आत्मविश्वास और सार्वजनिक बोलने की क्षमता भी पैदा करते हैं। उन्होंने इस बात पर ज़ोर दिया कि कानून के पेशेवरों को अपने ज्ञान को बढ़ाने और विकसित होते कानूनी परिदृश्य से अपडेट रहने के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस जैसी नई तकनीक को अपनाना चाहिए।

तत्पश्चात् माननीय श्री हरी शंकर जज, दिल्ली उच्च न्यायालय ने अपने विशिष्ट वक्तव्य में कहा उन्होंने प्रतिभागियों को हमेशा मेहनती रहने और असफलताओं से निराश न होने की सलाह दी। उन्होंने स्वस्थ और नियमित मूट कोर्ट प्रतियोगिताओं के महत्व के बारे में बात की क्योंकि वे प्रतिभागियों को अपने प्रस्तुतीकरण कौशल और अदालतों को संबोधित करने की उनकी क्षमता में सुधार करने में मदद करते हैं। उन्होंने अपने कॉलेज के वर्षों के अनुभवों को साझा करते हुए, सीखने की यात्रा को समझने और उसका आनंद लेने के तरीके पर अंतर्दृष्टि साझा की और एक मजबूत कानूनी संस्कृति को आत्मसात करने और पोषित करने के महत्व पर बल दिया।

इसके उपरांत गौतम बुद्ध विश्वविद्यालय के माननीय कुलपति प्रो .राणा प्रताप सिंह ने अध्यक्षीय भाषण में प्रतियोगिता के आयोजन में स्कूल ऑफ लॉ, जस्टिस एंड गवर्नेंस के सराहनीय प्रयासों की सराहना की और छात्रों को सिद्धांत और व्यवहार को जोड़ने वाले ऐसे शैक्षणिक अभ्यासों में सक्रिय रूप से भाग लेने के लिए प्रोत्साहित किया। उन्होंने इस अवसर की शोभा बढ़ाने और युवा मन को अपने ज्ञान से समृद्ध करने के लिए विशिष्ट अतिथियों के प्रति आभार भी व्यक्त किया।

तत्पश्चात् कार्यक्रम की संयोजक डॉ. रमा शर्मा ने सम्पूर्ण कार्यक्रम की रिपोर्ट देने के पश्चात प्रतियोगिता के परिणामों की घोषणा करते हुए सबको शुभकामनाएं दी और अंत में कार्यक्रम की अन्य संयोजक डॉ ममता शर्मा ने सभी सम्माननीय अथितियों के प्रति आभार व्यक्त करते हुए इस कार्यक्रम को सफलतापूर्वक सम्पन्न कराने के लिए सभी गणमान्य व्यक्तियों, संकाय के अधिष्ठाता डॉ. के. के. द्विवेदी, विभाग्याध्यक्ष डॉ संतोष कुमार तिवारी ,लॉ के संकाय सदस्यों, प्रतिभागियों और आयोजन समिति के सदस्यों और विद्यार्थियों को कार्यक्रम की सफलता में उनके बहुमूल्य योगदान के लिए हार्दिक आभार व्यक्त किया।

फ़ाइनल राउंड के निर्णायक गण माननीय श्री जस्टिस ओ .पी. शुक्ला , जज, दिल्ली उच्च न्यायालय, माननीय श्री जस्टिस हरी शंकर, जज, दिल्ली उच्च न्यायालय रहे अंत में विजेताओं को प्रतियोगिता के दौरान उनके उत्कृष्ट प्रदर्शन और समर्पण के लिए सम्मानित किया गया।

बेस्ट मेमोरिल का पुरस्कार पूर्वा मेहता, अदिति गहलोत और मुस्कान मीना ( डॉ बी.आर. अंबेडकर नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी , सोनीपत) को प्रदान किया गया। बेस्ट स्पीकर का पुरस्कार स्नेह बशिष्ठ को प्रदान किया गया। रनर अप का स्थान अँजली राहुल वर्मा, वीक्षा चौधरी, तन्वी बंसल (आर्मी इंस्टीट्यूट ऑफ लॉ, मोहाली) को मिला, जबकि विनर रहे दौलत कौर सांधु, मानवी लोंगिया, अभिषेक नागपाल ( यूनिवर्सिटी इंस्टीट्यूट ऑफ लीगल स्टडीज, पंजाब यूनिवर्सिटी) ।

इस मूट कोर्ट प्रतियोगिता के मुख्य संरक्षक, माननीय कुलपति प्रो .राणा प्रताप सिंह , गौतम बुद्ध विश्वविद्यालय हैं। तथा इस कार्यक्रम के संयोजक में डॉ. ममता शर्मा और डॉ.रमा शर्मा तथा सह संयोजक डॉ. अनिता यादव और श्री सागर हैं।इस कार्यक्रम में देश के कोने कोने से 62 टीम्स और लगभग 100 से अधिक छात्र छात्राओं ने भागीदारी लिया

इस अवसर पर न्यायपालिका के प्रतिष्ठित अतिथियों , विश्वविद्यालय के विभिन्न संकायों के अधिष्ठाता तथा अन्य शिक्षक गण द्वारा भी भाग लिया गया। कार्यक्रम के सफल आयोजन पर गौतम बुद्ध विश्वविद्यालय के माननीय कुलपति प्रो .राणा प्रताप सिंह , कुलसचिव, डॉ. विश्वास कुमार त्रिपाठी जी ने कार्यक्रम के सफल आयोजन के लिए विधि विभाग के शिक्षकों और छात्र छात्राओं को बधाई एवं शुभकामनएँ प्रेषित किया I

इस समारोह में पी.एन. माथुर मेमोरियल राष्ट्रीय मूट कोर्ट प्रतियोगिता के चौथे संस्करण का सफल समापन हुआ, जो नवोदित विधि छात्रों को अपने वकालत कौशल को निखारने और वास्तविक दुनिया के कानूनी मुद्दों से जुड़ने के लिए एक प्रतिष्ठित मंच प्रदान करता है।इस प्रकार, समापन सत्र ने दो दिवसीय कार्यक्रम को एक गरिमापूर्ण और प्रेरणादायक समापन पर पहुँचाया, जिसमें वकालत में उत्कृष्टता, सक्षमता , नैतिकता और सामाजिक रूप से जिम्मेदार कानूनी पेशेवरों को पोषित करने के लिए विश्वविद्यालय की प्रतिबद्धता की पुष्टि की गई।

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