ग्रेटर नोएडा

शारदा स्कूल ऑफ मेडिकल साइंस एंड रिसर्च में विश्व हेपेटाइटिस दिवस पर सेमिनार का आयोजन

ग्रेटर नोएडा:ग्रेनो के नॉलेज पार्क स्थित शारदा विश्वविद्यालय के स्कूल ऑफ मेडिकल साइंस एंड रिसर्च और सामान्य चिकित्सा विभाग विश्व हेपेटाइटिस दिवस पर सेमिनार का आयोजन कर रहा है।इसका उद्देश्य हेपेटाइटिस के महत्व, जटिलताओं और शीघ्र पहचान की भूमिका के बारे में जागरूकता बढ़ाना। प्रतिभागियों को जीवनशैली में बदलाव के बारे में जागरूक करना। लिवर से जुड़े हेपेटाइटिस इंफेक्शन के बारे में जागरूकता पैदा करना है, वैसे तो हेपेटाइटिस कई तरह का होता है लेकिन, लिवर के लिए बेहद खतरनाक है। लिवर हमारे शरीर के सबसे जरूरी अंगों में से एक है। यह शरीर में मौजूद टॉक्सिन्स को बाहर निकाले में अहम भूमिका निभाता है। लिवर में किसी तरह की परेशानी हो जाए, तो इससे पूरा सिस्टम बिगड़ जाता है।इस वर्ष थीम की थीम है चलो इसे तोड़ दें है।

शारदा अस्पताल के मेडिकल सुपरिटेंडेंट डॉ राममूर्ति शर्मा ने कहा कि वर्तमान में लिवर से जुड़ी समस्याएं तेजी से बढ़ रही हैं और बड़ी संख्या में युवा इसकी चपेट में आ रहे हैं. अनहेल्दी खानपान और खराब लाइफस्टाइल के चलते कई लोग हेपेटाइटिस जैसी गंभीर बीमारियों की चपेट में आ जाते हैं। शरीर में मौजूद टॉक्सिन्स को बाहर करने में लिवर का बड़ा रोल होता है। अनहेल्दी खानपान और खराब लाइफस्टाइल के कारण कई लोग हेपेटाइटिस जैसी गंभीर बीमारियों की चपेट में आ जाते हैं। बता दें, इन्हीं लोगों को जागरूक करने के मकसद से हर साल 28 जुलाई को वर्ल्ड हेपेटाइटिस डे मनाया जाता है। इस बीमारी में लिवर में सूजन आ जाती है और खाना पचाने में भी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। ऐसे में, जरूरी है कि समय रहते इसके लक्षणों को पहचानकर इलाज की ओर आगे बढ़ा जाए।

शारदा अस्पताल के सीनियर फिजिशियन डॉ भूमेश त्यागी के अनुसार हेपेटाइटिस लिवर की बीमारी है, जिसमें लीवर कमजोर हो जाता है। जब लीवर कमजोर होती है, तो पाचन क्रिया भी प्रभावित होती है। ऐसे में हेपेटाइटिस होने पर खान-पान के प्रति खास सावधानी बरतनी चाहिए। पाचन न गड़बड़ाए, इसके लिए किसी खास डाइट प्लान की जरूरत नहीं होती, लेकिन कुछ चीजों के सेवन के प्रति सावधानी बरतनी भी जरूरी है। हेपेटाइटिस का छह महीने से अधिक समय तक उपचार न हो तो यह जानलेवा हो सकता है।

इस दौरान डॉ एके अग्रवाल,डॉ दीपक शर्मा,डॉ निखिल गुप्ता समेत विभिन्न शहर के अस्पताल के डॉक्टर भी शामिल हुए।

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